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हिमाचल प्रदेश को भारत सरकार ने e-panchayat पुरस्कार से सम्मानित किया: वीरेंद्र कंवर

ब्यूरो चीफ (कुसुमलता)
ऊना (21 जून)- हिमाचल प्रदेश में सरकारी सेवाओं को आम जनमानस के घर-घर तक प्रदान करने के लिए 412 नई पंचायतों को आगामी दो माह में ‘ई-पंचायत’ के रुप में परिवर्तित किया जाएगा। इस संबंध में जानकारी देते हुए ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज मंत्री वीरेंद्र कंवर ने बताया कि राज्य में लोगों को घर-द्वार पर पंचायती राज सुविधाएं प्रदान करने के लिए फरवरी 2021 से अप्रैल 2021 तक नई पंचायतों का गठन किया गया था।

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उन्होंने बताया कि इनमें कुल 412 नई पंचायतों में से शिमला ज़िला में 51 पंचायतों, कांगड़ा ज़िला में 81 पंचायतों, ऊना ज़िला में 12 पंचायतों, मण्डी ज़िला में 95 पंचायतों, बिलासपुर ज़िला में 25 पंचायतों, चम्बा ज़िला में 26 पंचायतों, हमीरपुर ज़िला में 19 पंचायतों, सोलन ज़िला में 29 पंचायतों, सिरमौर ज़िला में 31 पंचायतों, कुल्लू ज़िला में 31 पंचायतों, लाहौल स्पिति ज़िला में 4 पंचायतों तथा किन्नौर ज़िला में 8 पंचायतों को कुल 2.06 करोड़ रुपये की लागत से हार्डवेयर इंटरनेट आदि सुविधाएं प्रदान करके आगामी दो माह में ‘ई-पंचायत’ के तौर पर विकसित किया जाएगा।
ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज मंत्री वीरेंद्र कंवर ने बताया कि इस समय राज्य की 3226 ‘ई-पंचायत’में हार्डवेयर इंटरनेट तथा ढांचागत सुविधाएं प्रदान करने के लिए 40 करोड़ रुपये खर्च किए गए हैं। उन्होंने बताया कि नई 412 ‘ई-पंचायत’ के भवन निर्माण, मूलभूत सुविधाओं तथा ढांचागत विकास के लिए आगामी वर्षों में चरणबद्ध तरीके से 195 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। नई पंचायतों में तैनात सरकारी कर्मचारियों तथा पंचायती राज प्रतिनिधियों को ‘ई-पंचायत’ के विभिन्न पहलूओं की गहन जानकारी प्रदान करने के लिए कुशल विशेषज्ञों द्वारा प्रशिक्षण प्रदान किया जाएगा। इस साल ‘ई-पंचायत’ से जुड़े मुद्दों तथा पहलुओं की जानकारी प्रदान करने के लिए आयोजित किए जाने वाले प्रशिक्षण कार्यक्रमों के लिए 19 लाख रुपये के बजट का प्रावधान रखा गया है। राज्य में अब तक 27321 पंचायती राज प्रतिनिधियों तथा सरकारी कर्मचारियों को ‘ई-पंचायत’ की कार्यप्रणाली के प्रति प्रशिक्षण प्रदान किया जा चुका है।
ग्रामीण विकास एवं पंचायतीराज मंत्री वीरेंद्र कंवर ने कहा कि इस समय राज्य की 3226 ‘ई-पंचायत’ के माध्यम से ग्रामीण लोग जन्म प्रमाण पत्र, विवाह प्रमाण पत्र, परिवार पंजीकरण, मृत्यु पंजीकरण जैसी सेवाओं का लाभ उठा रहे हैं।
राज्य में ‘ई-पंचायत’ को प्रभावी तथा सफल संचालन को देश भर में अव्वल माना गया है तथा राज्य को ‘ई-पंचायत’ प्रणाली के कार्यन्वन के लिए लगातार दो वर्ष- 2020 तथा 2021 में भारत सरकार ने ‘ई-पंचायत’ पुरस्कार से सम्मानित किया है। इस समय राज्य की 3226 ई पंचायतों की ग्राम पंचायत विकास योजना को वेबसाइट पर डाला गया है। लगभग 2600 ‘ई-पंचायत’ के वार्षिक खाते आधिकारिक पोर्टल पर बंद किए गए तथा सरकार ने शत प्रतिशत वित्तिय लेन-देन को ई-ग्राम स्वराज पब्लिक फाइनेंस मैनेजमैंट सिस्टम इंटरफेस के माध्यम से कार्यन्वित करने का फैसला किया है।
राज्य में ई पंचायतों द्वारा केन्द्रीय वित्त आयोग के कार्यों को ‘जियो टैग’ किया जा रहा है तथा अब तक 42793 ऐसे कार्यों को जियो टैग किया जा चुका है।

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